मेलबर्न. ऑस्ट्रेलिया में वर्क वीसा दिलाने के नाम पर बिचौलियों ने सैकड़ों विदेशियों को ठग लिया। ठगे जाने वालों में 80 भारतीय भी हैं। वर्तमान मामले में आव्रजन मंत्री ब्रेंडन ओ’कॉनर ने आश्वासन दिया है कि वीसा समस्या को देखने के लिए 300 निरीक्षक नियुक्त किए जाएंगे। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक बिचौलियों ने विदेशी कामगारों से पांच हजार से लेकर 40 हजार डॉलर लिए। साथ ही उन्हें लंबे समय के लिए काम या स्थायी निवास का वीस दिलाने का वादा किया था।भारतीयों से कहा गया कि उन्हें वर्क वीसा के लिए मेलबर्न में सफाई से जुड़ा कोर्स करना होगा। इस कोर्स की फीस 1300 डॉलर है। लेकिन उनसे चार हजार डॉलर वसूले गए। समाचार पत्र ‘द एज’ में प्रकाशित रिपोर्ट में कहा गया है कि कुछ भारतीयों से एजेंट ने बूचडख़ानों में काम करने के लिए भी कहा। इसके अनुसार वीसा योजना का काफी बड़े पैमाने पर दुरुपयोग किया। ऑस्ट्रेलिया में ऐसे 200 मामले सामने आए हैं।काम का वादा किया लेकिन वेतन नहीं मिला: भावना भारतीय नागरिक भावना वर्मा (27) के अनुसार वह गर्भवती थी। आस्ट्रेलिया में रुकना चाहती थी। मेलबर्न की कंपनी रोडोवान लास्की ने 2012 में उन्हें लिखित वादा किया कि 5,000 डॉलर फीस देने पर उन्हें रोजगार दिलाया जाएगा। उन्हें विक्टोरिया के ओशन ग्रोव भेजा गया जहां दो महीने काम कराने के बाद भी कोई वेतन नहीं दिया गया। लास्की का मुद्दा ऑस्ट्रेलियाई संसद में भी उठा था। तब उसने अपने एक कर्मचारी को धमकी दी थी।
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