कराची|एक पक्षी के शिकार पर प्रतिबंध लगाया जाना पाकिस्तान की विदेश नीति के लिए भारी पड़ रहा है। हुबारॉ तिलोर पक्षी शर्मीला लेकिन खूबसूरत होता है और आकार में टर्की चिड़िया जैसा दिखता है। हर साल सर्दियों में ये मध्य एशिया से उड़कर पाकिस्तान आते हैं। लेकिन इनके साथ ही धनी और प्रभावशाली अरब के लोग भी यहां शिकार करने आ जाते हैं।वन्य जीव संरक्षण को लेकर काम करने वाले लोगों के हंगामे के बाद देश की शीर्ष अदालत ने पिछले अगस्त में सरकार को विदेशी वीआईपी मेहमानों को शिकार की अनुमति देने पर रोक लगा दी थी। यह प्रतिबंध उस रिपोर्ट के बाद लगाया गया जिसमें कहा गया था कि तीन सप्ताह के लिए शिकार पर आए सउदी प्रिंस ने क़रीब 2,100 पक्षियों का शिकार किया, जबकि उन्हें 100 पक्षियों के शिकार की अनुमति दी गई थी यानी अनुमति से 2000 ज़्यादा पक्षियों का शिकार।हल्की बादामी रंग के इन पक्षियों का शिकार बाज की मदद से किया गया। हुबारॉ को वन्य जीवों की प्रवासी प्रजातियों से संबंधित एक अंतरराष्ट्रीय संधि (बॉन संधि) में शामिल किया गया है।परिंदे ने पाकिस्तानी सरकार को डाला मुश्किल में..
कराची|एक पक्षी के शिकार पर प्रतिबंध लगाया जाना पाकिस्तान की विदेश नीति के लिए भारी पड़ रहा है। हुबारॉ तिलोर पक्षी शर्मीला लेकिन खूबसूरत होता है और आकार में टर्की चिड़िया जैसा दिखता है। हर साल सर्दियों में ये मध्य एशिया से उड़कर पाकिस्तान आते हैं। लेकिन इनके साथ ही धनी और प्रभावशाली अरब के लोग भी यहां शिकार करने आ जाते हैं।वन्य जीव संरक्षण को लेकर काम करने वाले लोगों के हंगामे के बाद देश की शीर्ष अदालत ने पिछले अगस्त में सरकार को विदेशी वीआईपी मेहमानों को शिकार की अनुमति देने पर रोक लगा दी थी। यह प्रतिबंध उस रिपोर्ट के बाद लगाया गया जिसमें कहा गया था कि तीन सप्ताह के लिए शिकार पर आए सउदी प्रिंस ने क़रीब 2,100 पक्षियों का शिकार किया, जबकि उन्हें 100 पक्षियों के शिकार की अनुमति दी गई थी यानी अनुमति से 2000 ज़्यादा पक्षियों का शिकार।हल्की बादामी रंग के इन पक्षियों का शिकार बाज की मदद से किया गया। हुबारॉ को वन्य जीवों की प्रवासी प्रजातियों से संबंधित एक अंतरराष्ट्रीय संधि (बॉन संधि) में शामिल किया गया है।
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दुनिया
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Karachi, Pakistan
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